पूरे प्रदेश में चुनाव प्रचार गुरुवार शाम 5 बजे थम गया। यहां तक की सीएम गहलोत ने भी अपने गृह क्षेत्र जोधपुर में अपना भाषण तय समय से 7 मिनट पहले समाप्त कर चुनाव आयोग ने निर्देशों की पालना के प्रति संजीदगी दिखाई. लेकिन चित्तौड़गढ़ से कांग्रेस के प्रत्याशी सुरेंद्र सिंह जाड़ावत शायद खुद को अपने मुख्यमंत्री और चुनाव आयोग से भी ऊपर मानते हैं। इसीलिए तमाम बंदिशों को ठेंगा दिखाते हुए उन्हौने अपना प्रचार अभियान जारी रखा। सबसे बड़ी बात चुनावी आचार संहिता की धज्जियाँ किसी गाँव देहात नहीं बल्कि चित्तौड़गढ़ मुख्यालय पर ही उड़ाई गई।
जाड़ावत का शुक्रवार सुबह का सेंथी इलाके का डोर टू डोर जनसम्पर्क का कार्यक्रम था जो कि नियमों में है। लेकिन जड़वत के मौके पर पहुँचाने से पहले इलाके में ढ़ोल बजाए जाने लगे। कांग्रेस प्रत्याशी के पहुँचाने पर कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने उन्हें फूल मालाओं से लाद दिया और इस दौरान जोर शोर से नारेबाजी की गई।जाड़ावत की मौजूदगी में बाकायदा करें से फूलों की वर्षा की गई। इस सब के बीच जाड़ावत ने माइक व स्पीकर से उपस्थित लोगों को सम्बोधित भी किया। सब कुछ वैसे ही हुआ जैसे प्रचार थमने के पहले किया जा सकता था। इस पूरे उल्लंघन के दुराण पुलिस या चुनाव आयोग का कोई कारिंदा नजर नहीं आया।
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