ओसियां विधायक दिव्या मदेरणा ने एक बार फिर से कांग्रेस के पूर्व सांसद बद्रीराम जाखड़ पर हमला बोला है। सार्वजनिक मंच पर साफ शब्दों में कहा कि जो लोग मुझे और मेरी मां को गालियां देते हैं, उनके साथ मैं स्टेज शेयर नहीं कर सकती। जब आपस में नहीं बनती तो साथ बैठकर एकता का ढोंग क्यों करना?
दरअसल, शनिवार (9 सितंबर) को उनके ही विधानसभा क्षेत्र के डांवरा गांव में दिवंगत कांग्रेस नेता रणजीत सिंह की मूर्ति का अनावरण समारोह था। इसमें सीएम अशोक गहलोत भी मौजूद थे, लेकिन दिव्या मदेरणा ने दूरी बना ली थी। उनके इस कार्यक्रम में शामिल नहीं होने के बाद चर्चा होने लगी, जिसका जवाब उन्होंने सोमवार को भेड गांव में हुई सभा में दिया।
हमने बद्रीराम की गुलामी नहीं की है
भेड गांव में सार्वजनिक प्याऊ निर्माण, नए जीएलआर और नलकूप समेत स्कूल क्रमोन्नत व सड़कों के चौड़ीकरण पर समारोह का आयोजन किया गया था। इस सभा में जब डांवरा गांव में न जाने की बात हुई तो उन्होंने पाली के पूर्व सांसद बद्रीराम जाखड़ पर हमला बोलते हुए कहा- मैंने मुख्यमंत्री और दिल्ली में हाईकमान को भी मंच साझा नहीं करने के बारे में बता दिया था। जिन्होंने मुझे और मेरी मां को अपशब्द बोले, ऐसे बद्रीराम की हमने कोई गुलामी नहीं की है, जो मंच शेयर करूं। स्वर्गीय रणजीत सिंह सालों तक प्रधान रहे, उस सभा में परसराम मदेरणा की फोटो तक नहीं थी। उन्होंने कहा- ऐसा नहीं होता कि बिन बुलाए चले जाओ। बिन बुलाए तो सत्संग में जाना चाहिए।
कांग्रेस की बी टीम हमें हराने में लगी
दिव्या बोलीं- राजनीति करना तो कड़काई रखना और अपने पिता की तरह राजनीति करना सीखा है। हमारे परिवार ने मारवाड़ में कांग्रेस को मजबूती दी है। मेरी कांग्रेस के प्रति निष्ठा पर कोई सवाल नहीं उठा सकता। कांग्रेस की बी टीम कई साल से हमारे परिवार को हराने में लगी है। 2008 से हमें हराने में थी। इसके बाद 2013 और 2018 में तो खुलकर उन्होंने हमारा विरोध किया। इसलिए इनके साथ नहीं बैठा जा सकता है।
दिव्या ने कहा कि जब लोकसभा चुनाव था तो कांग्रेस ने इन्हें प्रत्याशी बनाया था। ओसियां में सभा होनी थी। तब मैंने मुख्यमंत्री जी और दिल्ली तक कहा था कि मैं इनके साथ नहीं बैठूंगी। मेरे इस संकल्प से मुख्यमंत्री भी अच्छी तरफ से वाकिफ हैं।
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