हनुमानगढ़ - विश्वास कुमार
हनुमानगढ़ स्थापना दिवस के उपलक्ष में आयोजित होने वाली विभिन्न गतिविधियों के लिए कलक्ट्रेट सभागार में बैठक का आयोजन किया गया । जिला कलक्टर ने कहा कि जिला स्थापना दिवस पर स्वीप गतिविधियों, 10 जुलाई को होने वाले राजीव गांधी ओलंपिक खेल, मेडिकल कॉलेज परिसर में पौधारोपण, तंबाकू मुक्त अभियान, रक्तदान शिविर, सिंगल यूज प्लास्टिक, स्कूलों में शतरंज प्रतियोगिताएं इत्यादि कार्यक्रमों के माध्यम से राजस्थान कि परंपरा के अनुसार ही प्रदर्शन और सांस्कृतिक कार्यक्रम होंगे।
राज्य सरकार ने राजस्थान ग्रामीण पर्यटन योजना लागू की है। इससे ग्रामीण क्षेत्रों में गेस्ट हाउस, कृषि पर्यटन इकाई, कैंपिंग साइट, कैरावैन पार्क इत्यादि की स्थापना से रोजगार सृजित होंगे। देश-विदेश के पर्यटक राजस्थान की ग्रामीण संस्कृति से रूबरू हो सकेंगे। योजना अंतर्गत राज्य सरकार की ओर से गांवों के जीवन, कला संस्कृति और विरासत को प्रदर्शित करने वाली पर्यटन इकाइयों को बढ़ावा दिया जाएगा। योजना के माध्यम से ग्रामीण क्षेत्रों में पर्यटन इकाइयां स्थापित होने से स्थानीय लोक कला को प्रोत्साहन और हस्तशिल्प का संरक्षण होगा। इससे ग्रामीण इलाकों में स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के अवसर भी उपलब्ध हो सकेंगे। गौरतलब है कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने ग्रामीण क्षेत्रों में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए पिछले राज्य बजट में राजस्थान ग्रामीण पर्यटन योजना की घोषणा की थी।
जिला कलेक्टर रुक्मणि रियार की अध्यक्षता में बुधवार को कलेक्ट्रेट सभागार में हुई जिला पर्यटन विकास समिति की बैठक में यह जानकारी बीकानेर से आए पर्यटन विभाग के उपनिदेशक अनिल राठौड़ ने दी। इससे पहले राठौड़ ने जिले में पर्यटन को बढ़ावा देने को लेकर पर्यटन विभाग की ओर से 2 करोड़ 83 लाख की लागत से जिले के 9 प्रमुख पर्यटन स्थलों के विकास को लेकर किए जाने वाले कार्यों की विस्तृत जानकारी जिला कलेक्टर को दी।
राजस्थान ग्रामीण पर्यटन योजना अंतर्गत ग्रामीण पर्यटन इकाइयों को देय लाभ
उपनिदेशक अनिल राठौड़ ने बताया कि राजस्थान ग्रामीण पर्यटन योजना अंतर्गत स्टाम्प ड्यूटी में 100 प्रतिशत की छूट दी जाएगी। शुरुआत में 25 प्रतिशत स्टाम्प ड्यूटी देय होगी, पर्यटन इकाई शुरू होने का प्रमाण-पत्र प्रस्तुत करने पर पुनर्भरण किया जाएगा। देय एवं जमा एसजीएसटी का 10 वर्षों तक 100 प्रतिशत पुनर्भरण किया जाएगा। 'मुख्यमंत्री लघु उद्योग प्रोत्साहन योजना' के तहत 25 लाख रुपए तक के ऋण पर 8 प्रतिशत के स्थान पर 9 प्रतिशत ब्याज अनुदान दिया जाएगा। ग्रामीण पर्यटन इकाइयों को भू- संपरिवर्तन एवं बिल्डिंग प्लान अनुमोदन की जरूरत नहीं होगी। वन विभाग के अधीन क्षेत्र में ग्रामीण पर्यटन का प्रोत्साहन राज्य ईको टूरिज्म पॉलिसी, 2021 के प्रावधानों के अनुसार किया जाएगा। स्थानीय लोक कलाकारों एवं हस्तशिल्पियों तथा ग्रामीण स्टार्टअप को अनुमोदन एवं देय लाभों में प्राथमिकता दी जाएगी।
योजना की विशेषताएं
1.ग्रामीण गेस्ट हाउस-ग्रामीण क्षेत्रों में गेस्ट हाउस पंजीकृत किए जाएंगे, जिनमें 6 से 10 कमरे होंगे। ये कमरे पर्यटकों के ठहरने के लिए किराए पर उपलब्ध होंगे। गेस्ट हाउस में पर्यटकों के भोजन की व्यवस्था भी होगी।
2.कृषि पर्यटन इकाई- कृषि भूमि पर अनुमोदित पर्यटन इकाई न्यूनतम 2,000 वर्गमीटर एवं अधिकतम 2 हेक्टेयर पर स्थापित होगी। इसके 90 प्रतिशत हिस्से में कृषि और बागवानी कार्य, ऊंट फार्म, घोड़ा फार्म, पक्षी एवं पशुधन, फसल बोने के लिए, हस्तशिल्प, बगीचे आदि गतिविधियां पर्यटकों को ग्रामीण परिवेश उपलब्ध करवाया जाएगा।
3.कैम्पिंग साइट- कृषि भूमि पर न्यूनतम 1,000 वर्गमीटर एवं अधिकतम एक हेक्टेयर पर कैम्पिंग साइट स्थापित हो सकेगी। इसके 10 प्रतिशत हिस्से पर टेन्ट में अस्थाई आवास की व्यवस्था होगी। शेष हिस्से में ऊंट फार्म, घोड़ा फार्म, पशुधन,बगीचे आदि गतिविधियां होगी।
4.कैरावैन पार्क- कृषि भूमि पर न्यूनतम 1,000 वर्ग मीटर एवं अधिकतम 1 हेक्टेयर पर कैरावैन पार्क स्थापित हो सकेगा। इस पर अतिथियों के वाहन पार्क किए जाने के बुनियादी सुविधाओं का विकास होगा।
5.होम स्टे (पेइंग गेस्ट हाउस)-पर्यटन विभाग की ओर से पूर्व में जारी होम स्टे (पेईंग गेस्ट हाउस) स्कीम ग्रामीण क्षेत्र में भी लागू है। इसके तहत आवास मालिक की ओर से स्वयं के आवास में पर्यटकों को पांच कमरों तक आवास सुविधा उपलब्ध होगी।राठौड़ ने बताया कि इस योजना के तहत ग्रामीण गेस्ट हाउस, कृषि पर्यटन इकाई, कैम्पिंग साइट, कैरावैन पार्क का प्रोजेक्ट अनुमोदन और पंजीकरण पर्यटन विभाग के संबंधित पर्यटन स्वागत केंद्र की ओर से किया जाएगा। साथ ही ग्रामीण पर्यटन इकाइयों के लिए 15 फीट चौड़ी सड़क होना आवश्यक होगा। बैठक में जिला कलेक्टर के अलावा एडीएम प्रतिभा देवठिया, एडिशनल एसपी जस्साराम बोस, डेजर्ट रेडर्स क्लब के गुरपिंदर सिंह(केपी), एसडीएम डॉ अवि गर्ग, बीकानेर से आए पर्यटन विभाग के उपनिदेशक अनिल राठौड़, सहायक पर्यटन अधिकारी पवन शर्मा, डीएफओ वीरेन्द्र सिंह जोरा , एपीआरओ राजपाल लंबोरिया, पीडब्ल्यूडी के अधिशाषी अभियंता अनिल अग्रवाल, संगरिया म्यूजियम से मुरारी समेत अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
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