भीलवाड़ा ब्यूरो रिपोर्ट। 

जिले में उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए इनलैंड कंटेनर डिपो (आईसीडी) की शुरुआत शनिवार को हुई। 13 साल से बंद पड़े आईसीडी का संचालन शुरू होने से एक राउंड में एक कंटेनर पर व्यापारी को 8 से 10 हजार रुपए तक की बचत होगी। अब तक उद्यमी निजी ट्रांसपोर्ट कंपनियों से ही कंटेनर बंदरगाह तक भेज रहे थे। कस्टम क्लियरेंस के लिए भी दूसरी जगह नहीं जाना पड़ेगी। कस्टम अधिकारी भी आजाद नगर स्थित आईसीडी में ही उपलब्ध रहेंगें। भीलवाड़ा से कपड़े के अलावा स्टोन, मार्बल, फेल्सफार पाउडर सहित अन्य मिनरल, मसाले आदि पोर्ट तक भेजे जा सकेंगें। अभी यहां से अधिकांश माल गुजरात के मुंद्रा पोर्ट पर भेजा रहा है।

मुंद्रा पोर्ट भीलवाड़ा के सबसे निकटतम पोर्ट है। यहां पर 36 घंटे में माल पहुंचाया जा सकता है। डिपो पर एक दिन में 10 से 15 कंटेनर भेजन की सुविधा है। आने वाले समय में इसे और बढ़ाया जाएगा। शुरुआत में प्रतिमाह 300 से 400 कन्टेनर के निर्यात व्यापार की संभावना है। अगले 3 माह में 500 कंटेनर तक भेज सकेंगे। डिपो से भीलवाड़ा, मांडलगढ़, विजयनगर, गुलाबपुरा, शाहपुरा, बूंदी, चित्तौड़गढ़ क्षेत्र के निर्यातकों को भी लाभ मिलेगा। समारोह में मुख्य अतिथि उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री शकुंतला रावत, विशिष्ट अतिथि राजस्व मंत्री रामलाल जाट, राजसीको एवं आरईपीसी के अध्यक्ष राजीव अरोड़ा ने हरी झंडी दिखा कर कंटेनर्स रवाना किए। उपायुक्त कस्टम नरेंद्र आसेरी, राजसीको के प्रबंध निदेशक डॉ. मनीषा अरोड़ा, कलेक्टर आशीष मोदी, कांग्रेस जिलाध्यक्ष अक्षय त्रिपाठी उपस्थित थे। उद्योग मंत्री रावत ने कहा कि मिशन निर्यातक बनो के तहत निर्यातकों को विदेशों में निर्यात के लिए पोर्ट तक परिवहन सुविधा उपलब्ध कराने के लिए ड्राई पोर्ट की स्थापना की है। राजस्व मंत्री रामलाल जाट ने कहा कि यह आईसीडी भीलवाड़ा के उद्योगपतियों के लिए सौगात है।