अजमेर ब्यूरो रिपोर्ट।
नशीली दवाओं के मामले में शिकायतकर्ता से दो करोड़ की रिश्वत मांग कर परेशान करने के मामले में गिरफ्तार एसओजी की एडिशनल एसपी दिव्या मित्तल को मंगलवार को अजमेर एसीबी कोर्ट में पेश किया गया। जयपुर एसीबी की ओर से 4 दिन का रिमांड मांगा गया था। जज ने 3 दिन का रिमांड दिया। अब जयपुर एसीबी रिमांड के दौरान मित्तल से बर्खास्त कॉन्स्टेबल सहित अन्य बरामदगी को लेकर पूछताछ करेगी।जयपुर एसीबी दिव्या मित्तल को 3.48 बजे अजमेर एसीबी कोर्ट लेकर पहुंची। कोर्ट में पेशी से पहले एसीबी की गिरफ्त में दिव्या मित्तल मुस्कराते हुई दिखी। उनके चेहरे पर कोई शिकन नजर नहीं आई। कोर्ट आए अपने भाई से भी बात करती रही। एसीबी दिव्या मित्तल का कोर्ट से रिमांड मांगेगी। दिव्या मित्तल सोमवार से ही एसीबी के पास में है इस दौरान एसीबी के अधिकारियों ने दिव्या से इस मामले को लेकर पूछताछ की। लेकिन दिव्या मित्तल ने अभी तक एसीबी के अधिकारियों को इस संबंध में कोई जानकारी नहीं दी है। वहीं अभी भी एसीबी का सर्च दिव्या मित्तल की संपत्ति को लेकर चल रहा है।दिव्या के उदयपुर के फार्म हाउस, जयपुर के फ्लैट, अजमेर में दो जगह मकानों पर निरंतर सर्च चल रही है। हालांकि अभी तक एसीबी ने दिव्या की सम्पत्ति को लेकर कोई खुलासा नहीं किया हैं। जानकार सूत्रों की माने तो एसीबी दिव्या के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति का मुकदमा भी दर्ज कर सकती है। उदयपुर में स्थित 50 कमरों के फार्म हाउस की कीमत का आकलन लोकल स्तर पर लगाया जा रहा है वही जयपुर, अजमेर के मकान और फ्लैट का भी आकलन किया जा रहा है।एडीजी एसीबी दिनेश एमएन ने बताया कि एडिशनल एसपी दिव्या मित्तल की गिरफ्तारी की जानकारी एसओजी और कार्मिक विभाग को दे दी गई है। वहीं, दिव्या मित्तल के कार्यालय में उनकी टेबल पर रखी हुई इस केस से जुड़ी फाइल के अलावा तीन और फाइलों को सीज कर दिया गया है। इस केस के परिवादी को जिस फाइल में आरोपी बनाया जा रहा था उसे चेक करने के लिए फाइल चेक की गई है। अब तक की जानकारी के अनुसार वर्ष 2021 में कुछ लोगों को अजमेर के रामगंज थाना पुलिस ने कोरोना से रिलेटेड दवाओं के साथ पकड़ा था। इस संबंध में रामगंज थाने में मुकदमा दर्ज हुआ था। यह फाइल कुछ समय बाद एसओजी के पास चली गई थी। इस फाइल में जो आरोपी पुलिस की ओर से पकड़े गए थे उन्होंने यह ड्रग्स हरिद्वार की फैक्ट्री से लाना बताया था। इस सिलसिले में एसओजी ने फैक्ट्री मालिक को अजमेर आकर बयान देने के लिए लिखा था। फैक्ट्री मालिक ने एसीबी को बताया कि उसका इन लोगों के साथ और इस ड्रग्स के साथ किसी भी प्रकार का कोई संबंध नहीं है। जिसके बाद भी एडिशनल एसपी एसओजी दिव्या मित्तल के द्वारा उन्हें बार-बार बुलाना और परेशान करना जारी रहा। जिससे परेशान होकर वह 4 जनवरी को एसीबी मुख्यालय पहुंचा और अब तक की पूरी बात एसीबी के सीनियर ऑफिसर को बताई।