अलवर ब्यूरो रिपोर्ट।
सरिस्का बाघ परियोजना में अग्नि दुर्घटना वाले वन क्षेत्रों में अग्नि नियंत्रण पर काबू पाने हेतु भारतीय वायु सेना के दो हैलीकॉप्टर्स द्वारा बुधवार दोपहर तक 22 राउण्ड लगाकर अग्निशमन की कार्यवाही की गई। सरिस्का बाघ परियोजना अलवर के वन संरक्षक एवं क्षेत्र निदेशक आर.एन मीणा ने बताया मुख्य वन्यजीव प्रतिपालक एवं जिला कलक्टर ने अग्नि दुर्घटना वाले क्षेत्रों का जायजा लिया एवं अग्निशमन कार्यवाही की प्रगति एवं अग्नि के फैलाव की रोकथाम के संदर्भ में आवश्यक दिशा निर्देश दिए। उन्होंने बताया कि मंगलवार 29 मार्च तक वन क्षेत्र में अग्नि काफी तादात में फैली हुई थी जो अब हैलीकॉप्टर्स के द्वारा अग्निशमन कार्यवाही के अतिरिक्त ग्राउंड लेवल पर अग्नि दुर्घटना वाले वन क्षेत्रों में वन विभाग के अधिकारी एवं कर्मचारी, नेचर गाइड्स, एसडीआरएफ, ईको डवलपमेंट कमेटी तथा समीपस्थ ग्रामीणों द्वारा अग्नि के फैलाव के रोकथाम के लिए किए गए सामूहिक प्रयासों से लगभग नियंत्रण की स्थिति में आ गई है।
उन्होंने आशा जताई है कि जिस प्रकार युद्ध स्तर पर अग्नि नियंत्रण हेतु सामूहिक रूप में कार्य किया जा रहा है इससे आज देर सांय/रात्रि तक अग्नि दुर्घटना पर लगभग नियंत्रण पा लिया जाऐगा।उन्होंने बताया कि अग्नि दुर्घटना पर पूर्णतः नियंत्रण पाने के लिए दोनों ही प्रकार के ऑपरेशन आगामी आदेशों तक जारी रहेंगे क्योंकि अनेकों बार अग्नि दुर्घटना स्थलों पर अथवा उसके समीप के वन क्षेत्रों में अधजले ठूंठों द्वारा भी पुनः दुर्घटना का अंदेशा बना रहता है। उप वन संरक्षक सरिस्का एवं उप वन संरक्षक वन्यजीव जयपुर तथा क्षेत्रीय वन अधिकारी द्वारा अकबरपुर से अग्नि दुर्घटना से प्रभावित वन क्षेत्रों एवं लगते हुए वन क्षेत्रों के संबंध में वर्तमान स्थिति का फीडबैक लिया गया। उन्होंने बताया कि भारत सरकार एवं राज्य सरकार वन एवं वन्यजीव क्षेत्रों में अग्नि दुर्घटनाओं को नियंत्रित कर वन एवं वन्यजीवों की सुरक्षा हेतु कटिबद्ध है।
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